उत्तराखंड विधानसभा सत्र – पहली बार बिना नेता प्रतिपक्ष चला सदन

पहली बार बिना नेता प्रतिपक्ष चला सदन
कांग्रेस की साफ झलकती आपसी कशमश
देहरादून। उत्तराखंड विधानसभा सत्र प्रारम्भ हो गया है परन्तु विपक्ष अभी तक अपना प्रतिनिधि तय नहीं कर पाई। उत्तराखंड के इतिहास में ऐसा पहली दफा है जब विधानसभा का सत्र चल रहा है और विपक्ष का कोई प्रतिनिधि सदन में नहीं हैै दरअसल, कांग्रेस में नेता प्रतिपक्ष के चयन को लेकर हरीश रावत और प्रीतम सिंह के गुट आमने-सामने हैं, जिसके कारण देरी हो रही हैै
हालांकि, एक स्वस्थ लोकतंत्र के लिए जरूरी है कि एक मजबूत और क्रियात्मक विपक्ष हो, जो सरकार के अच्छे कामों में सरकार का साथ दें और कहीं पर अगर सरकार से कोई कमी रह जाती है तो उसको एक क्रियात्मक विपक्ष की भूमिका निभाए। इस मामले में पूर्व में नेता प्रतिपक्ष रहे कांग्रेस विधायक प्रीतम सिंह का कहना है कि, बिना नेता प्रतिपक्ष के भी सदन चल सकता है। नेता प्रतिपक्ष को लेकर कोई संवैधानिक बाध्यता नहीं है। हालांकि, वो ये भी कहते हैं यह सवाल पार्टी हाईकमान से होना चाहिए कि इस पद को लेकर किसी नाम का चयन करने में इतनी देरी क्यों हो रही है। प्रीतम सिंह कहते हैं कि यदि उनको इस बात का अधिकार होता तो वह एक दिन में ही नेता प्रतिपक्ष कौन होगा यह तय कर देते।